सुलतानपुर। राष्ट्रीय जन उद्योग व्यापार संगठन के प्रदेश महामंत्री आलोक कुमार आर्य कहाकि एक के बाद एक वैश्य समुदाय पर हो रहे हमले से व्यापारी वर्ग में भारी आक्रोश व्याप्त हो गया है। आर्य के नेतृत्व में दर्जनों व्यवसायियों ने शुक्रवार को जिलाधिकारी के माध्यम से मुख्यमंत्री को ज्ञापन प्रेषित किया। संगठन ने मृतक मनीष गुप्ता के परिजनों को एक करोड़ रुपए की सहायता राशि देने एवं उनकी पत्नी को सरकारी नौकरी दिए जाने की मांग की है।
उन्होंने कहा कि वर्ग अपने को असहज महसूस करने लगे हैं। वैश्य वर्ग पर हमला सामाजिक सौहार्द को बिगाड़ने का एक राजनीतिक षड्यंत्र दिखाई दे रहा है, इसके पीछे किसी न किसी षड्यंत्रकारियों का हाथ लग रहा है। वह चाहे सरकार को बदनाम करने के लिए हो या वैश्य वर्ग को दबाने की कोशिश की जा रही हो। कहाकि सितंबर महीने में हुई तीन घटनाओं ने वैश्य समुदाय को झकझोर कर रख दिया है।
गौरतलब है कि गोरखपुर में 28 सितंबर को पुलिस की पिटाई के कारण व्यवसायी मनीष गुप्ता की हत्या हो गई। कानपुर से घूमने आए मनीष गुप्ता (35) नाम के युवक को रामगढ़ ताल पुलिस ने पीट-पीटकर मार डाला था। उसका कसूर सिर्फ इतना था कि आधी रात को होटल में चेकिंग करने पहुंची पुलिस से उसने पूछा कि यह चेकिंग का क्या तरीका है? क्या हम लोग आतंकवादी हैं?…आरोप है इसके बाद इंस्पेक्टर रामगढ़ताल जेएन सिंह और फल मंडी चौकी इंचार्ज अक्षय मिश्रा भड़क गए। दोनों ने होटल में रूम बंद करके मनीष को जमकर पीटा। मौके पर ही मनीष की मौत हो गई।